हज़रत फ़ातेमा ज़हरा की श्रेष्ठता सिद्ध करती हदीसें
हज़रत फ़ातेमा ज़हरा की श्रेष्ठता साबित करने वाली हदीसें
हम अपने इस लेख में केवल उन हदीसों को बयान कर रहे हैं जो अहले सुन्नत की किताबों में दर्ज हैं, स्पष्ट रहे कि यह उस सभी हदीसों का संग्रह नहीं है बल्कि हमने केवल कुछ हदीसों का चुनाव किया है।
रसूले ख़ुदा (स.) के हवाले से हज़रत फ़ातेमा ज़ेहरा की फ़ज़ीलत में कुछ हदीसेः
قال رسول الله صلی الله علیه و آله و سلم: اذا کان ویوم القیامت نادی منادی یا اهل الجمیع غضوا ابصارکم حتی تمر فاطمه
रसूले ख़ुदा (स.) ने फ़रमायाः क़यामत के दिन आवाज़ देने वाला आवाज़ देगा ऐ लोगों!अफनी आँखें बन्द कर लो फ़ातेमा (स.) का गुज़र होने वाला है। (कनज़ुल उम्माल, जिल्द 13, सफ़्हा 91,93)
قال رسول الله صلی الله علیه و آله و سلم: کنت اذا اشتقت الی رائحة الجنة شممت رقبة فاطمه
रसूले ख़ुदा (स.) ने फ़रमायाः जब कभी मुझे जन्नत की ख़ुशबू की तलब और चाहत महसूस होती तो फ़ातेमा को सूंघा करता। (मुनतख़बे कनज़ुल उम्माल जिल्द 5 शफ़्हा 97)
قال رسول الله صلی الله علیه و آله و سلم: حسبک من نسا؛ العلمین اربع: مریم و آسیه و خدیجه و فاطمه
रसूले ख़ुदा (स.) ने फ़रमायाः दुनिया की औरतों में चार बेहतरीन औरतें हैः मरयम, ख़दीजा, आसीया और फ़ातेमा। (मुसतदरक जिल्द 3, बाबे मनाक़िबे फ़ातेमा सफ़्हा 171)
قال رسول الله صلی الله علیه و آله و سلم: یا علی هذا جبریل یخبرنی ان الله زوجک فاطمه
रसूले ख़ुदा (स.) ने फ़रमायाः ऐ अली! जिब्रईल ने मुझे अभी ख़बर दी है कि ख़ुदा ने फ़ातेमा के साथ तुम्हारी शादी कर दी है। (मनाक़िबे इमाम अली लेइब्ने मग़ाज़ली सफ़्हा, 342)
قال رسول الله صلی الله علیه و آله و سلم: ما رضیت حتی رضیت فاطمه
रसूले ख़ुदा (स.) ने फ़रमायाः मैं कभी भी राज़ी नहीं होता था जब तक कि फ़ातेमा राज़ी नहीं होतीं। (मनाक़िबे इमाम अली लेइब्ने मग़ाज़ली 342)
قال رسول الله صلی الله علیه و آله و سلم: یا علی ان الله امرنی ان ازوجک فاطمه
रसूले ख़ुदा (स.) ने फ़रमायाः ऐ अली! ख़ुदा ने मुझे हुक्म दिया है कि तुम्हारी शादी फ़ातेमा से कर दूँ। (सवाएक़े मोहर्रेक़ा बाब 11, सफ़्हा 142, तज़केरतुल ख़वास सफ़्हा, 276)
قال رسول الله صلی الله علیه و آله و سلم: ان الله زوج علیاً من فاطمه
रसूले ख़ुदा (स.) ने फ़रमायाः ख़ुदा वन्दे आलम ने अली और फ़ातेमा को शादी के बंधन में बांधा है। (सवाएक़े मोहर्रेक़ा सफ़्हा 173)
قال رسول الله صلی الله علیه و آله و سلم: احب اهلی الیّ فاطمه
रसूले ख़ुदा (स.) ने फ़रमायाः मेरे ख़ानदान वालों में फ़ातेमा सब से ज़्यादा महबूब हैं। (जामेउस सग़ीर जिल्द 1, हदीस 203, सफ़्हा 37)
قال رسول الله صلی الله علیه و آله و سلم: سیّدة نساء اهل الجنة فاطمه
रसूले ख़ुदा (स.) ने फ़रमायाः जन्नत की औरतों की सरदार फ़ातेमा हैं। (कनज़ुल उम्माल जिल्द 13, सफ़्हा 94)
قال رسول الله صلی الله علیه و آله و سلم: اوّل من یدخُلُ الجنة علی و فاطمه
रसूले ख़ुदा (स.) ने फ़रमायाः अली और फ़ातेमा सब से पहले जन्नत में दाखिल होंगे। (नूरुल अबसार सफ़्हा 52, कनज़ुल उम्माल जिल्द 13, सफ़्हा 95)
قال رسول الله صلی الله علیه و آله و سلم: اُنزلت آیة التطهیر فیی خمسة فیّّیَ؛و فیی علیّ و حسن و حسین و فاطمه
रसूले ख़ुदा (स.) ने फ़रमायाः आयत-ए-ततहीर पाँच लोगों पर नाज़िल हुई हैः मुझ पर और अली पर और हसन व हुसैन और फ़ातेमा पर (असआफ़ुर्राग़ेबीन सफ़्हा 116)
قال رسول الله صلی الله علیه و آله و سلم: افضل نساء اهل الجنة: مریم و آسیه و خدیجه و فاطمه
रसूले ख़ुदा (स.) ने फ़रमायाः जन्नत की चार बेहतरीन औरतें हैः मरयम, आसिया, ख़दीजा, और फ़ातेमा।
قال رسول الله صلی الله علیه و آله و سلم: اوّل من دخل الجنة فاطمه
रसूले ख़ुदा (स.) ने फ़रमायाः जन्नत में सब से पहले फ़ातेमा दाखिल होंगी। (यनाबिउल मोवद्दत जिल्द 2 सफ़्हा 126)
قال رسول الله صلی الله علیه و آله و سلم: المهدی من عترتی من ولد فاطمه
रसूले ख़ुदा (स.) ने फ़रमायाः महदी का ताअल्लुक़ मेरी इतरत और औलादे फ़ातेमा में से है। (सवाएक़े मोहर्रेक़ा सफ़्हा 237)
قال رسول الله صلی الله علیه و آله و سلم: انّ الله عزّوجلّ فطم ابنتی فاطمه و ولدها و من احبهم من النار فلذالک سميت فاطمه
रसूले ख़ुदा (स.) ने फ़रमायाः ख़ुदा वन्दे आलम ने मेरी बेटी फ़ातेमा, उन के बच्चों और उन के चाहने वालों को आग से दूर और उसके तकलीफ़ पोहचाने से रोका है, इसी लिये उन का नाम फ़ातेमा है। (कनज़ुल उम्माल जिल्द 6 सफ़्हा 219)
قال رسول الله صلی الله علیه و آله و سلم: فاطمه انت اوّل اهل بیتی لُحُقاً بیی
रसूले ख़ुदा (स.) ने फ़रमायाः ऐ मेरी बेटी फ़ातेमा, मेरी इतरत में मेरे बाद सब से पहले तुम मुझ से मिलोगी। (सही बुख़ारी किताबे फ़ज़ाएल, कनज़ुल उम्माल जिल्द 13 सफ़्हा 93)
قال رسول الله صلی الله علیه و آله و سلم: فاطمة بضعة منی يسرنی ما يسرها
रसूले ख़ुदा (स.) ने फ़रमायाः फ़ातेमा मेरे जिगर का टुकटा है, जो इन्हें खुश करेगा वोह मुझे ख़ुश करेगा। (सवाएक़े मोहर्रेक़ा सफ़्हा 180, व 232,)
قال رسول الله صلی الله علیه و آله و سلم: فاطمه سيدة النساء اهل الجنه
रसूले ख़ुदा (स.) ने फ़रमायाः फ़ातेमा जन्नत की औरतों की सरदार हैं। (सही बुख़ारी जिल्द 3 किताब बाबे मुनाक़िबे फ़ातेमा सफ़्हा 1374)
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