यमन पर सऊदी हमला, मुफ़्तियों ने दिखाया वहाबियत का अस्ली चेहरा

जैसे ही सऊदी गठबंधन ने यमन के कमज़ोर और बेगुनाह लोगों पर अपने नवीन युद्धक विमानों और हथियारों से आक्रमण शुरू किया उसके साथ ही साथ एक और जंग भी जारी है जो इससे भी अधिक भयानक है, यह सऊदी अरब के मुफ़्तियों के अक़ीदों, विचारधाराओं और सोंच की जंग है जो यमन के विरुद्ध खड़े हैं और सऊदी सेना समर्थन कर रहे हैं।

लंदन से प्रकाशित समाचार पत्र राय अलयौम इसी पर लिखते हुए सऊदी अरब के कुछ मुफ़्तियों के विचारधाराओं को बयान किया है।

आले शेख़ः हौसी काफ़िर हैं!

सऊदी के मुफ़्ती आज़म अब्दुल अज़ीज़ आले शेख़ यमन के विरुद्ध सऊदी अरब के नेत्रत्व में तूफ़ाने क़ाते अभियान पर प्रतिक्रिया व्यक्त करते हुए हौसी शियों को दीन का शत्रु बताया, और सऊदी मीडिया के अनुसार आले शेख़ ने दावा किया है किः तूफ़ाने क़ाते के माध्यम से हौसियों को जो सज़ा दी गई है वह बुराई को समाप्त करने और पापियों और अपराधियों को रोकने के लिये की गई है ताकि हौसियों को यह समझाया जा सके कि क़ौम दीन और अम्रबिल मारूफ़ व नही अनिल मुनकर पर एकमत और शक्तिशाली है।


उन्होंने आगे कहाः हौसी दीन और अमनियत के दुश्मन है इसीलिये अल्लाह ने सच्चे और बहादुर लोगों को तैयार किया ताकि उनके उत्तर दें जो वह कभी भुला न सकें।

मोहम्मद अरीफ़ीः यमन के विरुद्ध जंग के मैदान में स्वंय हाज़िर हुए

सऊदी अरब के दूसरे मुफ़्ती मोहम्मद अरीफ़ी उन लोगों में से हैं जिन्होंने यमन पर आक्रमण के आरम्भ से ही उसका समर्थन किया और स्यंव सेना के बीच गए ताकि लोगों को इस जंग में शामिल होने के लिये प्रेरित कर सकें।

जो वीडियों उनकी तरफ़ से जारी हुआ है उसमें उन्होंने यमन पर (बर्बर) हमलों को जिहाद बताया और सैनिकों से कहा है कि वह अपनी जान निछावर कर दें।


अलसदीसः इतिहास यमन की जंग को सोने की क़लम से लिखेगा

अब्दुल रहमान अलसदीस जो मस्जिदुल हराम में अधिकतर इमामे जमाअत होते हैं ने भी यमन पर सैनिक चढ़ाई को पीड़ितों की सहायता के लिये की जाने वाली जंग बताया और कहाः इतिहास यमन की जंग को सोने की क़लम से लिखेगा।

मोहम्मत सालेह अलमुनजिदः सावधान रहो

मोहम्मत सालेह अलमुनजिद ने इस युद्ध के औचित्य के दर्शाने के लिये दूसरा रास्ता चुना और उन्होंने अपने ट्वीटर पेज पर लिखा, सावधान रहें, सूचना मिली है कि कुछ लोग देश को अपना निशाना बना सकते हैं, सावधान रहें और एक दूसरे की सहायता करें।

मुफ़्ती आज़म पाकिस्तानः मोहम्मद रफ़ीअ उस्मानी

पाकिस्तान के मुफ़्ती आज़म रफ़ीअ उस्मानी ने भी यमन पर जारी हमलों का जायज़ ठहराया है और कहाः सऊदी अरब के बादशाह मलिक सलमान बिन अब्दुल अज़ीज़ का यमन में हौसियों के विरुद्ध सैन्य हमला सही और शरई है और इस्लामी शिक्षा के अनुसार है और पाकिस्तानी जानता इस हमले में सऊदी अरब के साथ है।

आज यमन पर जारी बर्बर और अपराधिक हमलों के 27 दिन हो चुके हैं और अब तक 2500 से अधिक लोग इन हमलों में मारे जा चुके हैं और आले सऊदी इन हमलों में रसायनिक हथियारों का भी प्रयोग कर रहा है, आय सऊदी अरब के ताज़ा हमलों में एक यमनी अधिकारी के अनुसार 40 लोग रसायनिक हमलों में घायल और 37 लोगों को घुटन की परेशानी झेलनी पड़ी है

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