मिस्र में सल्फ़ी पार्टी का शिया विरोधी बयान

मिस्र की वहाबी पार्टी ने अपने नये बयान में अख़वानुल मुसलेमीन को मिस्र में शिया मज़हब फैलने का कारण बताया है।

टीवी शिया वहाबी पार्टीयों के प्रवक्ता आदिल नस्र ने इस बारे में कहाः मिस्र में जब अख़वानुल मुसलेमीन सत्ता में आए तो उन्होंने शियों के लिये अपने द्वार खोल दिये, उन्होंने आगे दावा किया कि शिया मिस्र के लिये ख़तरा है और विश्विद्यालय स्तर पर उसका मुक़ाबला किया जाना चाहिए और उसकी पथभ्रष्ठता को सबके सामने लाना चाहिए।

आदिल ने आगे कहा कि वहाबी पार्टी लोगों में शिया ख़तरे के बारे में जागरुक्ता लाने के लिये एक संगठन बनायगी। दूसरी तरफ़ मिस्र के एक वहाबी शेख़ ने इस बारे में कहाः सल्फ़ी पार्टी शिया और दूसरे कट्टरपंधी गुटों के बारे में रुख़ साफ़ है, फिर उन्होंने सल्फ़ी पार्टी को इस्लाम की सुरक्षा और शिया से मुक़ाबले के लिये ज़िम्मेदार बताया।

इस शेख़ की शिया विरोधी बातें आदिल नस्र की बातों के कुछ दिन बात ही सामने आई हैं, उसने कुछ दिन पहले मिस्र सरकार और दूसरे देशों को संबोधित करते हुए कहा थाः इराक़ को शियों के हाथों में देने और सीरियाई सरकार के पास ईरान छोड़ दिया, अब यमन और दूसरे देशों में ईरान के हस्तक्षेप पर चुप न बैठो, यह लोग हथियार बंद गुटों के माध्यम से लेबनान की भाति दूसरी हुकूमतों को गिराने के चक्कर में हैं।

स्पष्ट रहे कि सल्फ़ी और वहाबी पार्टियों और शेख़ों की यह शिया विरोधी बातें उस समय सामने आ रही हैं कि इस दुनिया में लगभग सभी आतंकवादी संगठन और मुसलमानों का ख़ून बहाने वाली पार्टियां वहाबी विचारधारा से प्रेरित हैं।

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